

₹175.00 ₹157.50
Guaranteed Safe Checkout
अचिन्त्य मालवीय
मैंने चित्र बनाना दिल्ली यूनिवर्सिटी में सीखा। कॉलेज में मेरा विषय ‘मैथ्स’ या ‘साइंस’ नहीं था बल्कि ‘पेंटिंग था। मैं जब स्कूल में था तब से चित्र बनाने का शौक है मुझे।
2015 में कॉलेज पूरा होने के बाद मैंने तरह-तरह के लोगों के लिए, तरह-तरह की कंपनियों के लिए, तरह-तरह की जगहों पर जा कर के, चित्र बनाये। कभी
काग़ज़ पर, कभी कैनवास पर, यहाँ तक की कभी-कभी तो ऊँची-ऊँची दीवारों पर भी। कभी लोगों के चेहरे, तो कभी कोई सुंदर सा लैंडस्केप। मैंने बिसलेरी, नेस्टले, गोदरेज, माइक्रोसॉफ्ट, जैसी कंपनी के लिए भी चित्र बनाये।
करीब 3 साल IIT गुवाहाटी में एनीमेशन भी किया जहाँ पर ढेर सारे चित्र हाथों से बना कर उन्हें साथ-साथ लगाया और एक फ़िल्म बनायी। फ़िल्म से याद आया मैंने अपने कुछ दोस्तों के साथ मिल कर कुछ छोटी-छोटी फिल्में भी बनायी हैं, जो यूट्यूब और डिज़्नी प्लस हॉटस्टार पर देखी जा सकती हैं।
खैर… IIT का काम खत्म हुआ तो मैंने उठायी अपनी मोटरसाइकिल और निकल पड़ा घूमने। जहाँ-जहाँ जाता चित्र बनाता जाता। मोटरसाइकिल के पीछे एक बस्ता बाँध कर मैंने डलहौजी से लेकर नैनीताल, महाबलेश्वर से लेकर पाँडिचेरी और गोवा से लेकर बंगलौर तक, दीवारों पे चित्र बनाये ।
इस तरह की ढेरों किताबें और भी हैं जिनमे मेरे चित्र हैं। और ऐसी ही ढेरों किताबों में मैं आगे भी चित्र बनाता रहूँगा…
Weight | 0.100 kg |
---|---|
Dimensions | 22.2 × 14.3 × 1 cm |
Brand |
Unbound Script |
Author |
Yash Malviya |
Imprint |
Unbound Script |
Publication date |
11 February 2025 |
Pages |
61 |
Reading age |
6 years and up |
ISBN-13 |
9789348497772 |
Binding |
Paperback |
Language |
Hindi |
No account yet?
Create an Account
Reviews
There are no reviews yet.